तरारी विधायक व माले प्रतिनिधिमंडल गड़हनी बीडीओ और पीएचसी प्रभारी से मिलकर जनता की समस्याओं पर की बात।।

सवांददाता कुणाल सिंह, गड़हनी

गड़हनी:-प्रखण्ड क्षेत्र के तमाम गरीबों को तत्काल राशन देने , कोरोना संदिग्ध मरीजों की अच्छी देखभाल व चिकित्साकर्मी को आवश्यक संसाधन मुहैय्या कराने पर जोर ।
डेवढ़ी डीलर से स्पष्टीकरण मांगने की बात बीडीओ ने बतायी।
कोरोना वायरस से मुक्ति पाने के लिए लाॅकडाउन किये जाने पर आम जनता पर आफत की मार पड़ी है। मजदूर-किसान छात्र-युवा और महिला और चिकित्साकर्मी सभी संकट में हैं।
ऐसे समय में माले के राज्य कमिटी नेता व तरारी विधायक सुदामा प्रसाद व इनौस राष्ट्रीय अध्यक्ष सह केन्द्रीय कमिटी सदस्य मनोज मंजिल के नेतृत्व में माले का प्रतिनिधिमंडल गड़हनी बीडीओ से मिला और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र प्रभारी से मिला व केन्द्र का जायजा लिया।
प्रतिनिधिमंडल में माले राज्य कमिटी नेता सह गड़हनी सचिव नवीन कुमार , आइसा राज्य कमिटी सदस्य उज्ज्वल , सामाजिक कार्यकर्ता असलम , मंजूर रजा शामिल थे।
इसके अलावा साथ में जनशायर अमीन भारती , असगर , नाहिद भी मौजूद थे।

माले प्रतिनिधिमंडल ने बीडीओ से मुलाकात में पाया कि कोरोना संदिग्ध के लिए बनाये गये क्वारंटाइन केन्द्र बुनियादी सुविधाओं के अभाव में हैं। तीन समय का पौष्टिक आहार , नाश्ता चाय , मच्छरदानी , स्वच्छ शौचालय , साबुन व सुरक्षा गार्ड में से किसी भी तरह की अनुपलब्धता के कारण संदिग्ध रोगी क्वारंटाइन की शर्तो को पुरा नहीं कर पा रहे हैं।
साथ ही पाया गया कि सरकार ने कोरोना के लिए अलग से कोई फंड निर्गत नहीं किया है और आपदा प्रबंधन के फंड का इस्तेमाल करने का गाइडलाइन दिया है ।

विधायक सुदामा प्रसाद ने अविलंब क्वारंटाइन रोगी को बुनियादी सुविधाओं को मुहैय्या कराने की बात कही।
साथ ही तमाम गरीब को राशन कार्ड न होने पर भी राशन मुहैय्या कराने की मांग की तथा वृद्धा , विकलांग और विधवा पेंशन के जो कार्डधारी लाभार्थी नहीं हैं उन्हें भी पेंशन का लाभ देने की मांग की।

साथ ही कहा कि तमाम डीलर से राशन अविलंब दिलवाया जाए , जिसपर बीडीओ ने कहा कि डेवढ़ी डीलर से राशन न बांटने का स्पष्टीकरण मांगा।
माले प्रतिनिधिमंडल ने प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र जाकर प्रभारी डाॅ रीता शर्मा से भी मुलाकात की।
प्रतिनिधिमंडल ने पाया कि यह केन्द्र मूलतः काॅरोना के बारे में जागरूकता फैलाने और काॅरोना संदिग्ध रोगी को उच्च स्तर पर जांच के लिए भेजने के लिए काम कर रहा है।
इस केन्द्र पर काॅरोना के इलाज या जांच की कोई व्यवस्था नहीं है और चिकित्साकर्मी तक के लिए आवश्यक मात्रा में को मास्क , हैंड सैनेटाइजर या उपचार पोशाक उपलब्ध नहीं।
तमाम गांवों में ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव के लिए आवश्यक मात्रा से बहुत ही कम ब्लीचिंग मौजूद था।
प्रतिनिधिमंडल ने पाया कि स्वास्थ्यकर्मी काॅरोना रोकने संबंधी सुरक्षा कवचों से भी महरूम हैं और चुनौतीपूर्ण स्थितियों में काम कर रहे हैं।
प्रतिनिधिमंडल को बताया गया कि डिलिवरी और डायरिया को छोड़कर अन्य इलाज पूर्णत बंद है।
सुदामाजी ने कहा कि
इस विकट स्थिति में हमें कोरोना से बचाव और सतर्कता के उपायों का जरूर पालन करना चाहिए
साथ ही
1) प्रखंडों में आइसोलेशन केंद्र खोला जाय जहां सब तरह की सुविधाएं और मास्क , उपचार-पोशाक , हैंड सैनेटाइजर सहित अन्य जरूरी संसाधन उपलब्ध हों।

2) सामान्य बीमारियों के लिए ओपीडी की व्यवस्था को तत्काल चालू किये जाने की जरूरत है अतः पीएचसी से लेकर तमाम अस्पतालों के बन्द पड़े ओपीडी सेवा को अविलम्ब बहाल किये जाएं।


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